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Saali Sex Story

साली की छोटी कुवारी बेटी की चुद मारी (Saali Ki Sex Story)

प्रिया मित्रो, आज मैं आपको एक सच्ची कहानी सुनाने जा रहा हूं। आशा है, आपको पसंद आएगी। राखी के अवसर पर, मैं अपनी पत्नी और बेटों के साथ अपनी ससुराल गया हुआ था।

ससुराल में मेरी साली भी अपने भाई को राखी बांधने आई थी या उसके साथ उसकी बेटी मोनिका  भी थी।

यहां मैं आपको बताता हूं कि मोनिका की उम्र, रंग-रूप या जवानी  के बार में कुछ भी नहीं बताऊंगा। क्योंकि रिश्ते-दारी में आपका कोई-ना-कोई भांजी होगी। जिसकी चढ़ती  जवानी आपकी आंखों में मचलती होगी। उसके आते-जाते आप अपनी आंखों से उसके बदन को सहलाते होंगे। आप भी चाहते होंगे, कि वो आप की गौड़ में आकर बथे, आप उसकी कमीज में हाथ डाल कर उसके बूब्स को दबाये, उसके होते हैं चुसे।

अब वो आपके सामने से अपने गांड  को मटकाते हुए निकलेंगे, तो आपका दिल उसके गांड में ही फस के रहता होगा। जिसके नरम-ओ-नजुक बदन से खेलने को आपका भी दिल चाहता होगा।

तो यह कहानी दुनिया के सभी मम्मा, मूसा या कहलूजान की है। इस  कहानी को पढ़ते-पढ़ते अपने दिमाग में अपना या अपनी भांजी की ये वीडियो चलाएं।

राखी का त्योहार होने के बाद, हम सब घूमने चले गए। मौसम बड़ा बढ़िया था। बादल छाय . मगर लुटे wqt भरी बरसात होने लगी और हम सब पूरी तरह से भीग गए। चलो, घर आकर हम सब ने कपड़े बदले और  मौसम का आनंद लेने लगे।

अगले दिन उठे तो पता चला की मोनिका को बुखार हो गया है। डॉक्टर से दावा दिलवाई, मगर उसके तो सारे बदन में दर्द हो रहा था और वो तकलीफ में थी।

मैंने कहा – अगर कोई नीद की गोली है, तो इसे दे दो। नहीं आ जाएगी। थोडा आराम मिल जाएगा का उपयोग करने के लिए।

अब नीद की गोली कोई केमिस्ट इसे तो देता नहीं। जब नीद की गोली नहीं मिली, तो मैंने कहा- मेरे पास एक गोली है। कहो तो दे दू। मैंने अपनी जेब से कंडोम के साइड में राखी एक गोली निकाल कर दे दी। मेरी साली ने वो गोली अपने हाथ में राखी और नाम लहर पढ़कर, मोनिका को दे दी। ले बेटा खा ले, नीद आ जाएगी।

मोनिका  ने गोली खा ली । उसके बाद, हम सब टीवी पर फिल्म देखने लगे। मेरा मन  फिल्म में नहीं लग रहा था। मैं सोचता रहा था, कि गोली खाकर मोनिका गहरी नीड़ में होंगी, ऐसे में अगर मौका मिल जाए, तो मैं मोनिका के नरम या नजुक बदन को सहला सकता हूं।

थोड़ी देर, फिल्म देखने के बाद, मैंने अपनी पत्नी को कहा- मुझे तो नीद आ रही है। मैं तो जाकार सोता हूं। तुम लोग फिल्म देखो। ये कह कर मैं, मोनिका के कमरे में आ गया या दूसरे बेड पर लेट गया।

कामरे में लाइट जल रही थी, जो मैंने बंद कर दी। बहार बरसात हो रही थी या मेरे दिल में तूफ़ान उठा हुआ था। सबसे पहले मैंने इंतजाम किया, कि कोई हमारे कामरे की तरफ आ तो नहीं रहा है। फिर, मैंने सारे परदे वागढ़ बंद किया कमरे में घुस अंधेरा कर दिया।

साली की छोटी कुवारी बेटी की चुद मारी

उसके बाद, फिर से एकबार बहार देख, मैं सीधी मोनिका के बेड पर उसका बिलकुल पास जाकार बात गया। मोनिका बेपरवाह सो रही थी। मैंने उसके माथे पर हाथ लगाकर देखा, माथा ठंडा था। फिर मैंने उसके सर से चादर हटायी। उसकी टीशर्ट के ऊपर गोल-मटोल बूब्स उसके बिना लेने से ऊपर- आला हो रहे थे।

मैने बड़े ही आराम से उसके चूची के अंदर अपना हाथ डाला और सहलाने लगा | उफ्फ… “क्या एहसास था”।

उसने टीशर्ट के अंदर  सिर्फ अंडर शर्ट ही पहनी थी। ब्रा नहीं पाहिनी थी। तो बहुत ही नरम या मुलायम सा स्तन  मेरे हाथ में आ गया। एक स्तन  पर अपनी पकड़ बनाने के बाद, मैंने अब अपने दूसरे हाथ से उसके दूसरे स्तन  को पकड़ लिया। अब मेरे दोनो हाथो में उसके दोनो स्तन आ चुके ओर मैंने उसके दोनो स्तन को काई बार चुमा।

फिर, मैंने मोनिका  के गालों को भी चूमा और उसके होठो को अपने होठो में लेकर बड़े ही धीरे से चुसे।

वो बड़ी ही गहरी नीद में थी या शायद हवा का भी नशा था। वो बिलकुल भी नहीं हिली। अब मेरी हवस हो भी भड़ चुकी थी। मैंने उठ कर  बहार देखा  फिर वैपिस आकार सीधे ही मोनिका की टीशर्ट या अंदरशर्ट को उठा कर उसके दोनो बूब्स को बहार निकला लिया। वाह, क्या मस्त नजारा था, वो…. इतनी खूबसूरत स्टेन तो मैंने आज तक नहीं देखे।

फिर, मैंने उसके दोनों  चुची  अपने हाथों में पकड़े कर इस्तेमाल करने के साथ-साथ उसके चुद भी अपने मुह में लेकर चुसे। उसके निप्पल के गुलाबी घेरे तो बन गए, पर उन पर निप्पल का आगे का भाग ज्‍यादा नहीं उभ्रा था, जिसे चूसा जा सके। अब ज्यादा तो चूस भी नहीं सकता था, सोचने लगा क्या करूं?

मैने फिर से बहार का झाक लिया और अब मोनिका  लोअर आला खिसकाया। उसके आला से पेंटी नहीं पाहिनी थी। लोअर निचे होते ही, अब वो मेरे सामने पुरी नंगी हो गई। उसकी चुत पर हल्के-हलके बाल थे, जो बहुत ही मुलायम थे।

मैने एक बार मोनिका  के चाहरे की तरफ देखा और फिर उसकी चुत पर एक पप्पी ले ली। वो जरा भी नहीं हिली, तो मैंने उसकी चुद  में डर में हल्के से अपनी जीभ लगाई, मगर मोनिका  ने कोई हरकत नहीं की।

फ़िर, मैंने अपने हाथों से उसकी चुद  की फँके खोली  अपनी जीभ से उसकी चुद को चाटने लगा । मोनिका  फिर भी शांत सोती रही । अब मुझे याकिन हो चला था, कि मैं आराम से इसकी चुद को चोद दु तो भी ये उठाने वाली नहीं है।

अब मैंने उसका लोवर  घुटनो तक नीचे कर दिया  उसकी जांघो को जी भर के सहलय चुमा और  चटा। वाह… क्या मजा आ रहा था।

तभी मुझे लगा, कि जैसी बहार कोई है। मैंने झट से मोनिका का टॉप ऊपर  किया ,चादर उसके ऊपर ओढ़ा कर  खुद भी सोने का नाटक करने लगा। तबी मोनिका की मां वहां आ गई और हमने मानसी का चेकअप किया, कि बुखार तो नहीं है। जब वो चली गई, तो मैं फिर से मोनिका के बेड पर आ गया और मोनिका का टॉप उठाकर उसकी चुचिया नंगी कर ली।

इस बार, मैंने अपना मुह उसकी चुत से लगाया और दोनो बूब्स हाथ में पकड़े  पूरी तमन्ना से अपनी जिभ उसकी चुत में घूमाई। इस बार मोनिका कसमसायी, मगर जाएगी नहीं। मैं जी भर के उसके कोमल बदन का रस पीना चाहता था। कभी मैं उसके बूब्स चुस्त , कभी उसके होठो को , तो कभी उसकी चुत को चट्टा। मगर अब मैं कुछ अधिक करना चाहता था।

मैंने अपना लोअर खोला अपना लंड  बहार निकला  मानसी की चुद  पर रगड़ा। मैंने उसकी टांगे  ऊपर उठाई अपने लंड  को उसकी चुत पर सेट किया और अंदर घुसने की कोशिश करने लगा। मेरा लंड अभी पुरी तरह से अकड़ा हुआ नहीं था… नरम था।

मैंने उसके दोनो चुची  अपने हाथ में पकड़े और उसके रसिले होठो  अपने होठो में पकड़  के चूसे  लंड  को उसकी चुत में घुसाने  कोशिश की। मगर, एक कवारी लड़की की चुत में लंड इतनी आसन से कहां जाता है। मगर मेरा लंड टाइट हो चुका था और मुझे ये भी लगा, मैंने अगर लंड  इसकी चुद  में घुआ दिया, तो ये जाग भी सकती है।

मैने फिर  कोशिश छोड़ दी अपना लंड मोनिका के बूब्स पर  फिराया। जब, मैंने अपना लंड मोनिका के होतो पर फिरया; तो उसने सर दूसरी तरफ घुमा लिया। एक बार , तो मेरे लम्बे लंड लघु हो गए, कि कहीं ये जग तो नहीं गई है। कहीं इसे पता तो नहीं चल गया है।

फिर, मैंने सोचा की अगर पता चलता रहा होता, तो मेरा विरोध करती। मैं वैसे ही उसे चुमता- चाटता रहा। यहां तक की मैंने उसे करवट दे कर उसके चुद और गांड का छेद भी अपनी जीभ से चटा।

मेरी काममुक्ता बढ़ती जा रही थी। मेरा दिल कर रहा था, कि इसे अभी छोड़ दो। पर मैं ऐसा कर नहीं सकता था।

फ़िर, मैंने मोनिका के बगल में ही साथ में सो गया ,  अपनी मुठ  मारने लगा। लंड  तो पहले से ही टाइट था। दो- तीन मिंट में झड़ भी गया। मेरे वीरी की चिते उसके चाहरे, बूब्स, पेट या चुद  को सरोबर कर गए। मैंने अपना सारा वीर उसके बदन पर ही गिरा  दिया।

अब मेरी तसल्ली हो चुकी थी, तो मैंने उसके कपाड़े सेट किए या अपने बेड पर जकार सो गया।

शाम को मैं छत  पर अकेला ही बैठा हुआ था, कि मोनिका वहां आ गई।

मैंने पूछा – अरे मोनिका , कैसी हो अब? बुखार उतर गया?

वो बोली- जी मूसा जी, अब मैं बिल्कुल ठीक हूं।

“चलो अच्छी बात है… मैंने कहा।

 

साली की छोटी कुवारी बेटी की चुद मारी

वो मेरे पास आकर बैठ  गई और मैं मन ही मन सोच रहा था, कि ये सुंदर होठ , ये खूबसूरत स्टेन या ये कवारी चुत, सबको मैंने चुमा या छटा है।

मैं इन विचारों में ही खोया था, कि मानसी बोली- एक बात कहू, अंकल?

मैंने हां में सर हिलाया।

मैंने आपकी दी हुई गोली नहीं खाई थी।

मतलब? मैंने पूछा।

“मैं जाग रही थी”।

जब हमें कहा – बाई गॉड… मेरी तो मोटी गई।

मैंने थोड़ा हिम्मत करके पूछा – तो तुम सोया हुई नहीं थी?

नहीं…  मेरी आंखों में गहरे देख कर कहा – या मुझे पता है, जो कुछ अपने मेरे साथ किया।

क्या तुम्हें बुरा लगा, तो तुम बोली क्यों नहीं? मैंने पूछा।

मैंने अपनी सहेली के मोबाइल पर एक ऐसी फिल्म देखी थी। वो बोली।

तो क्या इसि या फिल्म देखना छोगी? मेरे मोबाइल में तो बहुत सारी है। अब मैंने थोड़ा सा अश्वस्थ होकार कहा।

आप उन्हें मेरे मोबाइल में ब्लूटूथ से ट्रांसफर कर देंगे। उसे कहा।

हां, मगर उसकी फीस लगेगी। अब मैंने अपने स्टाइल में आकार बोला।

क्या फीस लगेगी? उसे थोड़ा मुस्कुराकर कहा।

जो कुछ मैंने तुम्हारे साथ सोते में किया था, अब जागते में करना चाहता हूं। बोलो करोगी? मैंने शुद्ध इच्छावास से उपयोग कहा।

आपने जो मेरे चुद में  अपनी जीभ से किया था। वो मुझे बहुत अच्छा लगा था। वैसा फिर से करोगे? उसे कहा।

मैंने इस्तेमाल करने के लिए अपनी गोद  में उठा लिया बरसात में ले गया। वहां पड़े एक बड़े से मेज पर बैठिया का प्रयोग करें। उसका लोअर निचे किया या तांगे चौडी करके अपना मुह उसकी चुत से लगा दिया। कवारी चुद  को चटने का जो स्वाद है, उसका कोई मुकाबला नहीं है।

इस तरह मैं  अपनी साली के कुवारी लड़की को चोदा और आज तक जब मौका मिलता है हम्म दोनों साथ में चुदाई कर ते है आप लोगो को ये कहनी कैसा लगा जरुरु बातना |

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